एड्स दिवस - CBSE: Your Go-To Guide for Academic Excellence

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एड्स दिवस

 

                     एड्स दिवस -1 दिसंबर 

विश्व एड्स दिवस विशेष रूप से 1 दिसंबर को मनाया जाता है और इसका मुख्य उद्देश्य एचआईवी (HIV) और एक्वायर्ड इम्यूनोडेफिशिएंसी सिंड्रोम (AIDS) के खिलाफ जागरूकता और जनशक्ति को संज्ञान में लेना है। इस दिवस को मनाकर हम एड्स से जुड़ी समस्याओं को समझने, प्रतिबद्धता बढ़ाने, और समुदाय को सहयोग करने का संकल्प लेते हैं।



 एड्स एक गंभीर जनस्वास्थ्य समस्या है जिसे HIV के कारण होता है। इस बीमारी ने दुनियाभर में लाखों लोगों को प्रभावित किया है, और अब तक कई लोगों की जानें इससे चली गई हैं। एड्स का सबसे बड़ा कारण HIV वायरस है, जो शरीर की रक्त संचरण से फैल सकता है।

इस दिवस के माध्यम से हमें यहां तक की जानकारी मिलती है कि कैसे हम एड्स को रोक सकते हैं, कैसे बचाव कर सकते हैं, और एड्स से प्रभावित लोगों के साथ एक सहानुभूति भरे समाज की दिशा में काम कर सकते हैं। इस संदेश को फैलाने के लिए हमें सामाजिक मीडिया, शिक्षा, और सार्वजनिक जागरूकता के साधनों का सही तरीके से उपयोग करना चाहिए।

एड्स होने के कारण-------

एड्स, जिसे एक्वायर्ड इम्यूनोडेफिशिएंसी सिंड्रोम (AIDS) कहा जाता है, एक गंभीर जनस्वास्थ्य समस्या है जो ह्यूमन इम्यूनोडेफिशिएंसी वायरस (HIV) के कारण होती है। यह वायरस शरीर के रक्त संचरण के माध्यम से फैलता है और इंसान के इम्यून सिस्टम को कमजोर करता है, जिससे व्यक्ति को विभिन्न इन्फेक्शन्स और बीमारियों का सामना करना पड़ता है।



 

एचआईवी (HIV) के होने का मुख्य कारण शरीर के संपर्क में वायरस का संचरण है, जो निम्नलिखित कुछ तरीकों से हो सकता है:

 

1. असुरक्षित यौन संबंध:- संरक्षित यौन संबंध बिना कंडोम के होने पर, खासकर अगर किसी एक व्यक्ति में HIV हो, वायरस का संचरण हो सकता है।

2. नशीली पदार्थ साझा करना:- HIV संबंधित चीजों को साझा करने के द्वारा भी इसका संचरण हो सकता है, जैसे कि सुराही, सुई, और इंजेक्शन के सामानों का बराबरी करना।

3. संचरित शिशु एक गर्भवती महिला जो HIV से प्रभावित है, वायरस को अपने शिशु को पास कर सकती है, जिसे उदाहरण स्वरूप गर्भाशय में हो जाने वाले शल्यक्रिया, बच्चे को दूध पिलाने या जनन द्वारा संचारित किया जा सकता है। 

4. रक्त संबंधित सामग्री का उपयोग: नसबंदी, खून की बहुसंख्यक ट्रांसफ्यूजन (बहुसंख्यक रक्त से होने वाली ट्रांसफ्यूजन), और रक्त बनाने में वायरस का संचरण हो सकता है।

5. सुरक्षित नहीं साझा करने वाली सुरंग का उपयोग: वायरस संबंधित चीजों को सुरंग के माध्यम से साझा करने के द्वारा भी HIV का संचरण हो सकता है।

एड्स के होने पर इंसान की प्रतिरक्षा तंत्र कमजोर हो जाती है, जिससे व्यक्ति को बीमारियों और संक्रमणों का सामना करना मुश्किल हो जाता है, और इसके परिणामस्वरूप उनकी मृत्यु हो सकती है।

सामान्य लक्षण:-

  1.  पेट में दर्द
  2.  निगलते समय दर्द
  3.  सूखी खांसी
  4. पूरे शरीर में थकान, अच्छा महसूस न करना, पसीना आना, बुखार, भूख न लगना, या रात में पसीना
  5. पेट और आंत संबंधी: उल्टी, पतले दस्त, मतली, या लगातार दस्त
  6. मुंह: छाले या सफ़ेद जीभ
  7. श्रोणि: घाव या सूजन
  8. गला: दर्द या निगलने में परेशानी

यह होना भी आम है: अवसरवादी संक्रमण, त्वचा पर ददोरा, निमोनिया, बिना कारण वज़न में बहुत ज़्यादा कमी होना, मुँह में छाले, सिरदर्द, या सूजी हुई लसीका ग्रंथियां यानी लिम्फ़ नोड (छोटे बीज के आकार की ग्रंथियां जो पूरे शरीर में होती हैं।

एड्स से बचाव के लिए निम्नलिखित तरीके ------

  1.  सुरक्षित संबंध बनाना स्वच्छ
  2. Iरीरिक सामग्री साझा न करना,
  3. ब्लड ट्रांसफ्यूजन या इंजेक्शन के समय स्वच्छता का ध्यान रखना,
  4. नशे का सेवन से बचना,
  5. स्वास्थ्य जाँच करवाना शामिल हैं।

एड्स के संबंध में मनोवैज्ञानिकों की सलाह लेना महत्वपूर्ण हो सकता है। इस समय, आपको अपने भावनात्मक स्वास्थ्य का खास ख्याल रखना जरूरी है। एड्स के साथ जीवन जीना चुनौतीपूर्ण हो सकता है, और मानसिक स्वास्थ्य सेवाएं आपको इस मुश्किल समय में समर्थन प्रदान कर सकती हैं।

 


आपको एक मनोवैज्ञानिक से बातचीत करना, अपनी चिंताओं और जीवनशैली को साझा करना, और उचित मार्गदर्शन प्राप्त करना महत्वपूर्ण है। वे आपको सहायक हो सकते हैं ताकि आप मानसिक स्वास्थ्य को संतुलित रख सकें और सकारात्मक दिशा में आगे बढ़ सकें।

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